सोमवार, 7 अक्टूबर 2019

मरूधर री महिमा

।। राम राम सा ।।
खेजड़ हेटै पोढस्यां,पेड्डी टांगां पाग ।
सुपणां मीठा आवसी,आथण आसी जाग ।
टीकड़ सिकसी राख मेँ, हांडी पकसी साग ।
ढाणी ठाठां लागसी, अब जागैला भाग ।
कड़बी गासी गीतड़ा, ग्वार सारसी राग ।
मुरधर मजमा लागसी, जद जागैला भाग ।
रात्यूं काढां गादड़ा,दिनड़ै डांगर ढोर।
मतीरा खावां दिनड़ै ,रात नै सिट्टा मौर ।
तिलड़ा तुरता तिड़कसी, बाजर देसी साथ ।
मोठ मरजी मानसी, जद लागांला पांथ ।

कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें