।। राम राम सा ।।
मित्रो ईस बार लोकसभा चुनाव मे अशोक गहलोत ने अपने बेटे के लिये राजस्थान के पुरे मन्त्रियों को जोधपुर में लगा रखा है । और कह रहे हैं अब न्याय होगा तो ये 1980 से सांसद है तो 40 साल बाद न्याय होगा ।ये कौनसा न्याय की बात कर ते है विकास की बात आती है तो बस ठजाना ठाली है । मित्रो वंशवाद को खत्म करें राष्ट्र हित के लिए जोधपुर लोकसभा क्षेत्र से भाजपा के श्रीमान गजेन्द्र सिंह जी को विजयी बनाये।
मित्रो ईस बार वोट देने के लिए थोड़ा समय ज़रूर निकालें अपनी इस महत्वपूर्ण जिम्मेदारी को बिलकुल न टालें…कयोंकि
अगर किसी कारणवश इस बार मतदान नही करोगे , तो आगे बड़ा नुकसान…भुगतना पड़ सकता है
न किसी जाती – न किसी धर्म के नाम पर,
अपना बहुमूल्य मत देना विकास के नाम पर…
मित्रों, अपने देश में लोकसभा चुनाव प्रगति पर है जनता के प्यार व स्नेह देखकर मुझे तो लगता है कि मोदीजी ही देश के प्रधान-मंत्री बनेंगे ।
मित्रो एक बार फिर से नरेन्द्र मोदी भारत का प्रधानमंत्री बनने को ओर अग्रसर हैं. ऐसा मैं ही नहीं बल्कि सारे सर्वे भी कह रहे हैं और इसका कारण यह है कि मोदी जी ने पिछले पांच सालों में जितने दुश्मन बनाए हैं उससे कहीं ज्यादा संख्या में उनके चाहने वाले लोग उनके प्रशंसक बन गए हैं. उनमे से हम भी एक है
विपक्ष के लोग हमे भक्त कहते है वैसे हमारे यहाँ मोदी के चाहने वालो को लोग अंधभक्त भी कहते है और कोन्ग्रेस के चाहने वालो को चमचा कहते है । चमचे नाराज बहुत जल्दी होते है । दो दिन पहले शिकारपुरा मे भी ऐसे ही नाराज हो गये थे इन दिनो मे तो बोलने से पहले सोचना पड़ता है कि कही पास मे कोई चमचा तो नही खड़ा है ।
पाँच दिन पहले मेरे कुछ मेहमान आ गये तो हम लोग होटल मे नास्ता करने के लिए गये ।, मुझे भी कहना नही था पर कह दिया वी भी थोड़ा जोर से एक ही चमचा है चमचा जल्दी दे । और वेटर को बोल दिया एक और चमचा देना । फिर क्या था, एक आदमी हाथ मे 5-7 आलू लिए मुझे मारने को उतारू हो गया और बोलने लगा,चमचा किसको बोला रे ? मुझसे कहने लगा किधर रहता है देख लूंगा । आने दो मेरे राहुल बाबा की सरकार फिर मैं इसी आलू से सोना बनाकर दिखाऊंगा। जैसे भक्तों की कमी नही हैं वैसे चमचो की भी कमी नही है ।
मित्रों, कुछ लोग कहते हैं कि मोदी जी ने प्रयत्न पूर्वक अपने भक्त बनाये हैं जबकि मेरा मानना है कि भक्ति व श्रद्धा ये तो स्वयं ही होती हैं
मित्रों, कोई भी व्यक्ति मोदी जी के प्रति श्रद्धा रखता है ऐसा वो अपनी मर्जी से ही करता है फिर मोदी जी के कर्म ही ऐसे हैं जो उसे ऐसा करने के लिए उसे विवश करते हैं जहाँ तक मोदी जी की भक्ति करने का सवाल है तो जैसा कि हमने देखा कि जब श्रद्धा में प्रेम भी मिश्रित हो जाता है तो उसे भक्ति कहते हैं. और ये भक्ति अपने देश ही नही विदेशी भी कर रहे है ।
भारत एक आजाद देश है, प्रत्येक नेता जनता के मन-मंदिर में अपना स्थान बनाने को स्वतंत्र है अपनी अपनी सोच है चमचे तो ऐसी उम्मीद करते कि जनता मोदी जी को छोड़ कर उसकी चमचागिरी करे और ऐसा न होने पर मोदी जी के प्रति ईर्ष्या रखने लगे तो रखे उसकी मर्जी है ।
लेकिन ऐसा करके वो खुद अपने ही देश की हानि करेगा और बदले में कुछ प्राप्त भी नहीं कर पाएगा.। चोर-चोर चिल्लाने से कोई चोर साधु नहीं हो जाता बल्कि इसके लिए तो उसे सन्मार्ग पर और त्याग के मार्ग पर चलना भी होगा. सब कुछ छोड़ कर ही सबकुछ पाया जा सकता है.
आजकल जनता भी सब समझती है कि कौन देशहित का कार्य कर सकता है इसलिये राष्ट्र हित के लिए भाजपा को मतदान करे अपना अमुल्य मत व्यर्थ नहीं जाने दे ।
जय हिन्द जय भारत
गुमनाराम पटेल सिणली
मित्रो ईस बार लोकसभा चुनाव मे अशोक गहलोत ने अपने बेटे के लिये राजस्थान के पुरे मन्त्रियों को जोधपुर में लगा रखा है । और कह रहे हैं अब न्याय होगा तो ये 1980 से सांसद है तो 40 साल बाद न्याय होगा ।ये कौनसा न्याय की बात कर ते है विकास की बात आती है तो बस ठजाना ठाली है । मित्रो वंशवाद को खत्म करें राष्ट्र हित के लिए जोधपुर लोकसभा क्षेत्र से भाजपा के श्रीमान गजेन्द्र सिंह जी को विजयी बनाये।
मित्रो ईस बार वोट देने के लिए थोड़ा समय ज़रूर निकालें अपनी इस महत्वपूर्ण जिम्मेदारी को बिलकुल न टालें…कयोंकि
अगर किसी कारणवश इस बार मतदान नही करोगे , तो आगे बड़ा नुकसान…भुगतना पड़ सकता है
न किसी जाती – न किसी धर्म के नाम पर,
अपना बहुमूल्य मत देना विकास के नाम पर…
मित्रों, अपने देश में लोकसभा चुनाव प्रगति पर है जनता के प्यार व स्नेह देखकर मुझे तो लगता है कि मोदीजी ही देश के प्रधान-मंत्री बनेंगे ।
मित्रो एक बार फिर से नरेन्द्र मोदी भारत का प्रधानमंत्री बनने को ओर अग्रसर हैं. ऐसा मैं ही नहीं बल्कि सारे सर्वे भी कह रहे हैं और इसका कारण यह है कि मोदी जी ने पिछले पांच सालों में जितने दुश्मन बनाए हैं उससे कहीं ज्यादा संख्या में उनके चाहने वाले लोग उनके प्रशंसक बन गए हैं. उनमे से हम भी एक है
विपक्ष के लोग हमे भक्त कहते है वैसे हमारे यहाँ मोदी के चाहने वालो को लोग अंधभक्त भी कहते है और कोन्ग्रेस के चाहने वालो को चमचा कहते है । चमचे नाराज बहुत जल्दी होते है । दो दिन पहले शिकारपुरा मे भी ऐसे ही नाराज हो गये थे इन दिनो मे तो बोलने से पहले सोचना पड़ता है कि कही पास मे कोई चमचा तो नही खड़ा है ।
पाँच दिन पहले मेरे कुछ मेहमान आ गये तो हम लोग होटल मे नास्ता करने के लिए गये ।, मुझे भी कहना नही था पर कह दिया वी भी थोड़ा जोर से एक ही चमचा है चमचा जल्दी दे । और वेटर को बोल दिया एक और चमचा देना । फिर क्या था, एक आदमी हाथ मे 5-7 आलू लिए मुझे मारने को उतारू हो गया और बोलने लगा,चमचा किसको बोला रे ? मुझसे कहने लगा किधर रहता है देख लूंगा । आने दो मेरे राहुल बाबा की सरकार फिर मैं इसी आलू से सोना बनाकर दिखाऊंगा। जैसे भक्तों की कमी नही हैं वैसे चमचो की भी कमी नही है ।
मित्रों, कुछ लोग कहते हैं कि मोदी जी ने प्रयत्न पूर्वक अपने भक्त बनाये हैं जबकि मेरा मानना है कि भक्ति व श्रद्धा ये तो स्वयं ही होती हैं
मित्रों, कोई भी व्यक्ति मोदी जी के प्रति श्रद्धा रखता है ऐसा वो अपनी मर्जी से ही करता है फिर मोदी जी के कर्म ही ऐसे हैं जो उसे ऐसा करने के लिए उसे विवश करते हैं जहाँ तक मोदी जी की भक्ति करने का सवाल है तो जैसा कि हमने देखा कि जब श्रद्धा में प्रेम भी मिश्रित हो जाता है तो उसे भक्ति कहते हैं. और ये भक्ति अपने देश ही नही विदेशी भी कर रहे है ।
भारत एक आजाद देश है, प्रत्येक नेता जनता के मन-मंदिर में अपना स्थान बनाने को स्वतंत्र है अपनी अपनी सोच है चमचे तो ऐसी उम्मीद करते कि जनता मोदी जी को छोड़ कर उसकी चमचागिरी करे और ऐसा न होने पर मोदी जी के प्रति ईर्ष्या रखने लगे तो रखे उसकी मर्जी है ।
लेकिन ऐसा करके वो खुद अपने ही देश की हानि करेगा और बदले में कुछ प्राप्त भी नहीं कर पाएगा.। चोर-चोर चिल्लाने से कोई चोर साधु नहीं हो जाता बल्कि इसके लिए तो उसे सन्मार्ग पर और त्याग के मार्ग पर चलना भी होगा. सब कुछ छोड़ कर ही सबकुछ पाया जा सकता है.
आजकल जनता भी सब समझती है कि कौन देशहित का कार्य कर सकता है इसलिये राष्ट्र हित के लिए भाजपा को मतदान करे अपना अमुल्य मत व्यर्थ नहीं जाने दे ।
जय हिन्द जय भारत
गुमनाराम पटेल सिणली
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